पुणे पोर्शे कार हादसा मामले में नाबालिग आरोपी के दादा सुरेंद्र अग्रवाल को पुणे पुलिस ने गिरफ्तार किया है। बता दें कि इससे पहले मुख्य आरोपी विशाल अग्रवाल को कोर्ट ने 14 न्यायिक हिरासत में भेज दिया था। पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक सुरेंद्र अग्रवाल ने ड्राइवर को धमकाया और उसे घर नहीं जाने दिया। ड्राइवर ने सुरेंद्र अग्रवाल के खिलाफ पुलिस कंप्लेंट दायर की है, जिसके आधार पर सुरेंद्र अग्रवाल पर अपहरण के भी चार्ज लगाए जाएंगे। आईपीसी की धारा 365, 366 और अन्य धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया जाएगा।
न्यायिक हिरासत में भेजे गए आरोपी
बता दें कि इस मामले में अन्य 5 आरोपियों को भी न्यायिक हिरासत में भेजा गया था। बता दें कि सभी आरोपियों की पुलिस कस्टडी खत्म होने के बाद उन्हें एक बार फिर से कोर्ट में पेश किया गया था। इस दौरान कोर्ट ने उनकी न्यायिक हिरासत को बढ़ा दिया। बता दें कि नाबालिग आरोपी विशाल को कोर्ट ने जुवेनाइल रिमांड होम भेज दिया। शुक्रवार को पहले यह सूचना आई थी कि हादसे के वक्त कार ड्राइविंग उनके परिवार का ड्राइवर कर रहा था, जिसे पूछताछ में ड्राइवर ने स्वीकार भी कर लिया था। हालांकि इसके बाद सीपी अमितेश कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की तब जाकर तय हो गया कि हादसे वक्त कार नाबिलग आरोपी ही चला रहा था।
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प्रेस कॉन्फ्रेंस में क्या बोले अधिकारी
सीपी अमितेश कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि शुरुआत जांच में बताया जा चुका है कि यह घटना रात ढाई बजे की है। सुबह 8 बजे स्थानीय पुलिस थाने में इसकी शिकायत दर्ज की गई। धारा 304 के तहत इसमें मामला दर्ज किया गया है। इस बाबत आरोपी के ब्लड रिपोर्ट की जानकारी ली जा रही है। केस की जांच कर रहे सीपी अमितेश कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि दुर्घटना वाली रात अजीत पवार गुट के विधायक सुनील टिंगरे पुलिस स्टेशन आए थे। इसमें कोई दो राय नहीं है। यह रिकॉर्ड पर है। लेकिन पुलिस द्वारा क्या कार्रवाई की गई थी, किस प्रकार की गई, फिलहाल उसपर कुछ भी कहना ठीक नहीं होगा।