18वीं लोकसभा के लिए चुनाव आखिरी पड़ाव पर है। जब 30 मई को 7वें चरण के लिए चुनाव प्रचार थमने वाला है, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का अगला प्लान ऑन हो जाएगा। पिछले कुछ महीनों में ताबड़तोड़ रैलियों के बाद 30 मई को चुनाव प्रचार थमते ही प्रधानमंत्री मोदी ‘ध्यान अवस्था’ में चले जाएंगे। पिछले दो बार की तरह नरेंद्र मोदी मतदान के बाद गुफा में ध्यान लगाएंगे।
प्रधानमंत्री मोदी ने इस बार ध्यान लगाने के लिए देश के सबसे दक्षिणी छोर तमिलनाडु के कन्याकुमारी को चुना है। पीएम मोदी 30 मई की शाम से 1 जून की शाम तक विवेकानंद रॉक मेमोरियल के हॉल ‘ध्यान मंडपम’ में ध्यान करेंगे।
कन्याकुमारी का विवेकानंद रॉक मेमोरियल
माना जाता है कि कन्याकुमारी वो जगह है, जहां स्वामी विवेकानंद को भारत माता के दर्शन हुए थे। यहीं पर वो देशभर में घूमने के बाद पहुंचे थे और 3 दिनों तक ध्यान किया। यहां विकसित भारत का सपना देखा था। विवेकानंद ने 1892 में 3 दिन और रात यहीं ध्यान किया था। यहां 1970 में स्मारक बनाया गया था। कहा जाता है कि विवेकानंद को इसी स्थान पर ज्ञान की प्राप्ति हुई थी।
ये वो स्थान भी माना जाता है जहां देवी पार्वती ने भगवान शिव के लिए ध्यान किया था। ये भारत का सबसे दक्षिणी छोर है। इसके अलावा ये वो जगह है, जहां भारत की पूर्वी और पश्चिमी तटरेखाएं मिलती हैं। यहां हिंद महासागर, बंगाल की खाड़ी और अरब सागर आकर मिलते हैं।
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कितने समय ध्यान अवस्था में रहेंगे पीएम मोदी?
कुछ बीजेपी नेताओं के हवाले से पीटीआई-भाषा ने जानकारी दी कि नरेंद्र मोदी ध्यान मंडपम में 30 मई की शाम से एक जून की शाम तक ध्यान की अवस्था में रहेंगे। प्रधानमंत्री 30 मई को कन्याकुमारी के तट पर स्थित इस खूबसूरत स्मारक पर पहुंचेंगे। पीएम मोदी ने आध्यात्मिक प्रवास के लिए कन्याकुमारी को इसलिए चुना, क्योंकि वो देश में विवेकानंद के दृष्टिकोण को साकार करना चाहते हैं। प्रधानमंत्री मोदी कन्याकुमारी जाकर राष्ट्रीय एकता का संकेत दे रहे हैं।
2 बार पीएम बनने के पहले क्या था पैटर्न?
इसके पहले भी पीएम मोदी 2014 और 2019 के मतदान के बाद गुफाओं में गए थे। 5 साल पहले इसी तरह की एक कोशिश में पीएम मोदी ने 2019 में चुनाव प्रचार खत्म होते उत्तराखंड के सबसे पवित्र तीर्थ स्थलों में से केदारनाथ को चुना था। पीएम मोदी को लाल कालीन पर मंदिर की ओर चलने और फिर भगवा वस्त्र पहने एक गुफा में ध्यान लगाते हुए देखा गया था। 2019 में बीजेपी ने 543 सदस्यीय लोकसभा में 303 सीटें जीतकर स्पष्ट बहुमत हासिल किया।
मोदी 2014 में चुनाव अभियान के अंत में इसी तरह के आध्यात्मिक प्रवास पर गए थे। उन्होंने प्रतापगढ़ का दौरा किया था, जहां शिवाजी के नेतृत्व वाली मराठा सेना और जनरल अफजल खान के नेतृत्व वाली बीजापुर सेना के बीच लड़ाई हुई थी। 2014 के चुनाव में बीजेपी की प्रचंड जीत हुई थी और नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री बने थे।
बीजेपी को तीसरी बार सत्ता में लौटने की उम्मीद
फिलहाल भारतीय जनता पार्टी तीसरी बार सत्ता में लौटने की पूरी कोशिश कर रहा है। 25 मई को छठे चरण के अंत में 543 लोकसभा सीटों में से 486 के लिए मतदान संपन्न हुआ। बीजेपी के नेतृत्व वाले एनडीए को उम्मीद है कि वो प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में रिकॉर्ड तीसरी बार सत्ता में लौटेगा। एनडीए का लक्ष्य 400 से ज्यादा सीटें जीतना है। सत्तारूढ़ गठबंधन को कांग्रेस के नेतृत्व वाली विपक्षी पार्टियों के INDI गठबंधन से चुनौती मिल रही है। हालांकि जनता का फैसला क्या होगा, ये 4 जून को साफ होगा।