केंद्र सरकार ने बीजेपी के ही 32 नेताओं की सुरक्षा वापस ले ली है। इस संबंध में एक लिस्ट भी जारी की गई है। इसमें उन सभी नेताओं के नाम हैं जिनकी सुरक्षा वापस हुई है। लिस्ट सामने आने के बाद से नेताओं का कहना है कि यह रूटीन प्रक्रिया है। केंद्र सरकार ही सुरक्षा के बारे में फैसला लेती है। केंद्र सरकार की तरफ से ऐसी सूची हर 3 महीने में जारी की जाती है।
लिस्ट में किन-किन नेताओं के नाम
इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक जिन नेताओं की सुरक्षा वापस ली गई है उनमें पूर्व केंद्रीय मंत्री जॉन बारला, पूर्व सांसद दशरथ तिर्की, भाजपा नेता शंकुदेव पांडा और पूर्व आईपीएस अधिकारी देबाशीष धर के नाम शामिल हैं। इस लिस्ट में उन नेताओं का भी नाम शामिल है, जो बीते साल लोकसभा चुनाव हार गए थे। इनके साथ ही अभिजीत दास, डायमंड हार्बर से पूर्व विधायक दीपक हल्दर, लोकसभा चुनाव में भाजपा प्रत्याशी रहीं प्रिया साहा, लोकसभा चुनाव में भाजपा उम्मीदवार रहे धनंजय घोष का नाम भी शामिल है।
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खबर के मुताबिक अभिजीत दास ने कहा कि ‘ मैं हरिद्वार में हूं, मुझे इस संबंध में कुछ नहीं पता। मुझे अब तक कोई संदेश नहीं मिला है। यह एक रूटीन मामला है, हर तीन महीने में केंद्रीय गृह मंत्रालय इस संबंध में एक सूची जारी करता है। उनके पास एक प्रोटोकॉल है। फिर से वे सुरक्षा प्रदान करते हैं। पिछले साढ़े 6 साल में मैंने ऐसा कई बार देखा है। कुछ दिन पहले 20 व्यक्तियों के नाम वाली ऐसी सूची प्रकाशित की गई थी, फिर से कई लोगों को सुरक्षा दी गई थी।’
बीजेपी सांसद समिक भट्टाचार्य ने इंडियन एक्सप्रेस से बातचीत में कहा कि ‘यह नियमित है। केंद्र तय करता है कि किसे और कब सुरक्षा की आवश्यकता है, और उसी तरह सुरक्षा प्रदान की जाती है। उस समय गृह मंत्रालय को लगा होगा कि नेताओं को सुरक्षा की आवश्यकता है। इस बारे में राजनीति करने जैसा कुछ नहीं है।’
