इंदौर, सनावादिया: पद्मश्री डॉ. (श्रीमती) जनक पलटा मगिलिगन के पति, ऑर्डर ऑफ ब्रिटिश एम्पायर से सम्मानित दिवंगत जेम्स (जिम्मी) मगिलिगन की स्मृति में जिम्मी एंड जनक मगिलिगन फाउंडेशन फॉर सस्टेनेबल डेवलपमेंट द्वारा आयोजित सस्टेनेबल वीक का समापन रविवार को सनावादिया स्थित गिरिदर्शन परिसर में भावभीनी प्रार्थना सभा के साथ हुआ।
फाउंडेशन के सचिव समीर शर्मा ने अतिथियों का स्वागत करते हुए कार्यक्रम का शुभारंभ किया। नित्या बत्रा द्वारा शंखनाद के पश्चात डॉ. जनक पलटा मगिलिगन ने अपने दिवंगत पति को समर्पित बहाई प्रार्थनाएं प्रस्तुत कीं।
इस अवसर पर चंडीगढ़ से आए परिवारजन – सुभाष पलटा, नीलम वर्मा, अरुण वर्मा – तथा वंदना बत्रा ने आत्मा की शांति, एकता और मानवता पर केंद्रित प्रार्थनाओं का पाठ किया। बरली संस्थान की निदेशिका ताहिरा जाधव, आर्यन पाठक और करोलिना ने भी बहाई प्रार्थनाएं अर्पित कीं।
समीर शर्मा ने बहाई धर्मग्रंथ से आत्मा और मृत्यु के गूढ़ अर्थों पर आधारित उद्धरण पढ़े। इसके बाद डॉ. गुरमीत सिंह नारंग और गुरबख्श सिंह ने गुरबाणी का पाठ किया।
गिरिदर्शन परिसर में भक्ति संगीत की स्वर लहरियां बिखरीं – अनुराग शुक्ला का कृष्ण भजन, डॉ. सीमा विजयवर्गीय की श्रीराम आराधना, डॉ. नीरजा पौराणिक का नवचेतना गीत और राजेन्द्र ओचानी का प्रेरणादायक भजन “इतनी शक्ति हमें देना दाता” सभी की आत्मा को स्पर्श कर गए। संगीत गुरुकुल के विद्यार्थियों ने प्रकृति और ईश्वर से जुड़ी संगीतमय प्रस्तुतियों से वातावरण को दिव्य बना दिया।
जनक दीदी ने भावुक शब्दों में जताया आभार:
जनक दीदी ने कहा, “मैं जो कुछ कर पाई हूं, वह जिम्मी द्वारा मेरे लिए किए गए त्याग और उनके भारत प्रेम का परिणाम है। वे मेरे मार्गदर्शक थे, और अब भी उनकी स्मृति मुझे प्रेरित करती है। आपका साथ ही मेरी ताकत है।”
जिम्मी की स्मृतियों में डॉ. गीति वजदी मित्रा:
उन्होंने जिम्मी के साथ बिताए वर्षों को याद करते हुए उन्हें कर्मठ, निस्वार्थ, और पर्यावरण प्रेमी बताया – “कर्तव्य + प्रेम + त्याग = सेवा” ही उनका जीवन दर्शन था।
प्रेस क्लब अध्यक्ष अरविंद तिवारी ने कहा:
“जिम्मी जी ने इंदौर में सोलर किचन, ड्रायर, ऑर्गेनिक फार्मिंग, जल संरक्षण और जीरो-वेस्ट जैसे प्रयोग उस समय किए जब ये शब्द भी आम नहीं थे। उनकी और जनक दीदी की जोड़ी प्रेरणादायक है – जिन्होंने देने को ही अपना जीवन बना लिया।”
शिष्य वरुण रहेजा की श्रद्धांजलि:
“भले ही कभी प्रत्यक्ष मुलाकात नहीं हुई, लेकिन उनकी शिक्षाओं ने मेरी सोच और जीवन को गहराई से प्रभावित किया है।”
सुभाष पलटा ने कहा:
“हम जनक दीदी के त्याग और तपस्या को प्रणाम करते हैं। दीदी अब सनावादिया परिवार की हैं और आप सभी उनके सच्चे अपने हैं।”
अंत में, ट्रस्टी वीरेंद्र गोयल ने सभी का आभार प्रकट करते हुए सस्टेनेबल डेवलपमेंट मिशन को निरंतर जारी रखने का आह्वान किया। कार्यक्रम का संचालन समीर शर्मा ने किया।
उपस्थित गणमान्य अतिथियों में अनुराधा दुबे, प्रो. आशीष दुबे, अम्बरीश सोनी, प्रीति अग्रवाल, शील कुमार, इंदर भंडारी, डॉ. पूनम माथुर, एएसपी मनीषा पाठक सोनी, एएसपी सीमा अलावा, डॉ. नीरजा पौराणिक, अनुराग व अर्चना शुक्ला, राजेंद्र सिंह, देव वासुदेवन, सुस्मिता भट्टाचार्य सहित कई अन्य शामिल रहे।
