जिम्मी एंड जनक मगिलिगन फाउंडेशन फॉर सस्टेनेबल डेवलपमेंट द्वारा आयोजित होली के लिए प्रकृतिक रंग बनाने का निशुल्क प्रशिक्षण जिम्मी मगिलिगन सेंटर फॉर सस्टेनेबल डेवलपमेंट पर पूरा सप्ताह (मार्च 17 -22 2024 ) प्रति दिन 10 बजे होगा ! प्राकृतिक रंग बनाने का यह प्रशिक्ष्ण पिछले 13 साल की तरह सेंटर की निदेशिका , पर्यावरण सेविका जनक पलटा मगिलिगन द्वारा दिया जायेगा ! जनक पलटा मगिलिगन के अनुसार होली और रंगपंचमी ख़ुशी, उत्साह और आनंद का त्योहार है ! लेकिन ज्यादातर होली खेलने से डरते है कि चेहरे ,आँन्खे , गले ख़राब होते है और लोग ज़बरदस्ती रंग लगाते है ! अपने शरीर पर रिएक्शन, इन्फेक्शन, एलर्जी व कपड़ो पर लगे रंग नहीं छूटने के डर और टेंशन के कारण होली नहीं खेलते है होली का रंग व भीड भाड खत्म होने के बाद शाम को पार्टी करने बाहर चले जाते है ! रासायनिक रंगो से बिमार न हो , आओ हमारे इन त्योहरो को खुश्नमा बनाये, होली ऐसी खेलें कि तन , मन रंग जाये ,इतने प्रेम से खेले कि अगली होली का इंतज़ार रहे !
जलवायु संकट का सबसे बड़ा इलाज अपने त्यौहार व जीवन के हर अवसर पर प्रकृति के प्रति संवेदन शील होना ज़रूरी है ! स्वच्छ, सुंदर व सुरक्षित पर्यावरण हितैषी प्रकृतिक रंगों से होली खेलने से प्लास्टिक में पैक व बनावटी और मिलावटी वस्तुओ से परहेज़ कर शुद्धता , सादगी से प्राकृतिक वस्तुओं व संसाधनों का उपयोग ही हमारे तन,मन,धन को बचा सकता है !
जनक दीदी असली फूलो व फलों ,गुलाब, बोगन विलिया, अम्बाड़ी ,टेशू {पलाश} गेंदे, संतरे के छिलके , पोई , चुकन्दर से सूखे और गीले नेचुरल कलर बनाने सिखायेंगी
इंदौर सिल्वर स्प्रिंग्स से महिलओ के समूह, गाँव सनावादिया से महिलाये युवा , श्री गोविन्दराम सेकसरिया प्रौद्योगिकी एवं विज्ञान संस्थान के छात्र , अहिल्या आश्रम से सुनयना शर्मा के साथ बच्चे, केन्द्रीय विद्यालय आई आई टी इंदौर , उज्जैन के साइन्स कालेज और स्वयंसेवकों के समूह सीखेंगे। प्रशिक्ष्ण सभी सभी उम्र व् लोगो के लिए खुला है कोई शुल्क या पंजीकरण नहीं है, जनक पलटा मगिलिगन से पूर्व की पुष्टि janakjimmy@gmail.com प्राप्त कर आ सकते है
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