Explore

Search

October 17, 2025 1:43 am

होली प्राकृतिक रंगों की कार्यशाला 7 – 12, मार्च 2025 के पांचवे दिन

WhatsApp
Facebook
Twitter
Email

जिम्मी मगिलिगन सेंटर आकर सोलर कुकर पर प्राकृतिक रंग बनाना सीख “हैप्पी होली हुई ”
पटेल ग्रुप आफ इन्स्टीट्यूशन के बीटेक और बी फार्मा के छात्रों को जिम्मी मगिलिगन सेंटर फॉर सस्टेनेबल डेवलपमेंट की निदेशक डॉ श्रीमती जनक पलटा मगिलिगन ने पेराबोलिक और बाक्स सोलर कुकर के बारे में जानकारी देते हुए , एक शीशे के जग में टेसू के फूल डालकर ,गर्म पानी डालती रही और साथ साथ केसरिया रंग बनता एक जादुई अनुभव था । फिर उन्होंने बोगनवेलिया के फूल,अम्बाड़ी,सिंदूर पोई, और पीले फूलों के गुलाल बनाना सिखाया और बताया कि सभी फूल उनके अपने आंगन के ही हैं। सूर्य भगवान की प्राकृतिक उर्जा से सभी रंग तैयार हो गए।

KBC 16: नए होस्ट के लिए सबसे आगे ये 4 नाम…….’अमिताभ बच्चन छोड़ेंगे कौन बनेगा करोड़पति……

कोई खर्चा नहीं, स्वस्थ, सुंदर और ससटेनेबल होली खेलने से हमारे तन, मन, धन सभी का लाभ है। इस से एकता, समरसता और प्रेम बढ़ता है। होमस्कूलिंग समूह भारती बत्रा भारत सिंह आई टी विशेषज्ञ ने जिम्मी मगिलिगन सेंटर प्लास्टिक-मुक्त और कचरा-मुक्त आत्मनिर्भर जीवन के , अक्षय ऊर्जा ,जैविक खेती से आर्थिक व स्वास्थ्य लाभ बताये।

सभी छात्र बहुत खुश और उत्साहित हुए। उन्होंने अपने अनुभव साझा किए कि उनके लिए यह कार्यशाला बहुत महत्वपूर्ण रही और वे इस वर्ष की होली अवश्य नेचुरल रंगों से खेलेंगे। छात्र राहुल ने कहा की वह जल्द ही अपने घर वर्षा जल संचयन का कार्य भी शुरू करेगा ।
प्रो पवन कुमार जी ने अपने विचार कहा कि ऐसी कार्यशाला आज की आधुनिक पीढ़ी को प्रेरित और सशक्त करेगी। प्रियंका जी ने आभार जताया कि जो युवा किताबों से नहीं सीख पाते उन्हें आज सहज ही समझ आ गया कि सस्टेनेबल होने का वास्तविक अर्थ क्या है।

Seema Reporter
Author: Seema Reporter

ताजा खबरों के लिए एक क्लिक पर ज्वाइन करे व्हाट्सएप ग्रुप

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Advertisement
लाइव क्रिकेट स्कोर