विदेशी निवेशकों ने पिछले सप्ताह देश के इक्विटी बाजारों में 17,425 करोड़ रुपये का निवेश किया. अनुकूल वैश्विक संकेतों और मजबूत घरेलू व्यापक आर्थिक संकेतकों के चलते ऐसा हुआ. इससे पहले 18 अप्रैल को समाप्त हुए सप्ताह में एफपीआई ने 8,500 करोड़ रुपये का शुद्ध निवेश किया था. वैश्विक स्तर पर, प्रमुख बाजारों में स्थिर प्रदर्शन, अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज दरों में वृद्धि रोकने के अनुमान और स्थिर अमेरिकी डॉलर ने भारतीय बाजारों को मजबूती दी.
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अप्रैल में डाले इतने करोड़
मॉर्निंगस्टार इन्वेस्टमेंट के संयुक्त निदेशक हिमांशु श्रीवास्तव के मुताबिक, ग्लोबल व्यापार तनाव कम होने से निवेशकों की धारणा में और सुधार आया. घरेलू स्तर पर, भारत की अपेक्षाकृत बेहतर वृदधि संभावनाओं, मुद्रास्फीति में नरमी और सामान्य मानसून के अनुमानों से निवेशकों का बाजार में भरोसा बढ़ा. उन्होंने कहा कि इन सभी कारकों ने विदेशी निवेशकों के लिए आकर्षक निवेश माहौल तैयार किया है. डिपॉजिटरी के आंकड़ों के अनुसार विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) ने 21 अप्रैल से 25 अप्रैल के दौरान इक्विटी में 17,425 करोड़ रुपये का शुद्ध निवेश किया.
आंकड़ों के अनुसार, अप्रैल में अब तक एफपीआई ने इक्विटी से 5,678 करोड़ रुपये निकाले हैं, जिससे 2025 की शुरुआत से अब तक कुल निकासी 1.22 लाख करोड़ रुपये हो गई है.
इन कंपनियों को हुआ फ़ायदा
शेयर बाजार में बीते कुछ हफ़्तों से अच्छी तेजी देखने को मिल रही है. इस बीच बीते सप्ताह बीएसई में लिस्टेड टॉप-10 में से 6 कंपनियों के मार्केट कैपिटलाइजेशन में 1.18 लाख करोड़ रुपये की बढ़ोतरी देखने को मिली है. सबसे ज्यादा फायदा मुकेश अंबानी के नेतृत्व वाली रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड और TCS के निवेशकों को हुआ. हफ्तेभर में ही इन्वेस्टर्स की दौलत में करोड़ों की इजाफा हुआ.
देश की टॉप 10 मूल्यवान फर्मों में छह का मार्केट कैप पिछले हफ्ते 1,18,626.24 करोड़ रुपये बढ़ गया. इसमें टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज को सबसे अधिक लाभ हुआ. पिछले हफ्ते, बीएसई सेंसेक्स 659.33 अंक या 0.83 प्रतिशत चढ़ा. एनएसई निफ्टी 187.7 अंक या 0.78 प्रतिशत बढ़ा.
