जयपुर। प्रदेश की नई उद्योग नीति के तहत प्रवासी राजस्थानी 1.50 लाख करोड़ रुपए से अधिक का निवेश कर रहे हैं। 9 प्रवासी उद्यमियों की कंपनियां राजस्थान के 15 जिलों में ऊर्जा, ऑयल-गैस, सीमेंट, मार्बल, प्लास्टिक, रेल इंफ्रास्ट्रक्चर और सिविल एविएशन जैसे क्षेत्रों में प्रोजेक्ट लगा रही हैं। कुछ पहले से चल रहे प्रोजेक्ट्स के दायरे को बढ़ाने का प्रस्ताव है।
इन उद्योगपतियों का संबंध चूरू, झुंझुनूं, पिलानी, भरतपुर, पाली, सुजानगढ़ और अजमेर जिलों से है। ये प्रवासी मुंबई, कोलकाता, लंदन, हैदराबाद, दिल्ली में बसे हैं। राज्य सरकार अब सामाजिक कार्यों में सक्रिय प्रवासियों को भी निवेश के लिए जोड़ने का प्रयास कर रही है।
ऊर्जा क्षेत्र में बड़ा निवेश
- अवाडा ग्रुप- झालावाड़-कोटा क्षेत्र में प्रस्तावित 1.2 पम्प हाइड्रो स्टोरेज प्रोजेक्ट। 1 लाख करोड़ का निवेश।
- पूर्वाह ग्रीन पावर- फलौदी, बीकानेर, नागौर, जालोर और जैसलमेर में 14500 करोड़ रुपए से अधिक के सोलर-स्टोरेज प्रोजेक्ट।
- एनएनबी रिन्यूएबल एनर्जी- बीकानेर-बाड़मेर में 900 मेगावाट क्षमता का सोलर पार्क डेवलप करेंगे। 4500 करोड़ रुपए का निवेश।
तेल-गैस, सीमेंट और रेल सेक्टर
- वेदांता (केयर्न ऑयल एंड गैस)- बाड़मेर-जैसलमेर, जालौर क्षेत्र में 30 हजार करोड़ रुपए का बड़ा विस्तार प्रोजेक्ट प्रस्तावित है, जिससे प्रदेश की हाइड्रोकार्बन उत्पादन क्षमता बढ़ेगी।
- अल्ट्राटेक सीमेंट- सिरोही में 2230 करोड़ रुपए से मौजूदा इकाई का दायरा बढ़ाकर नई क्षमता स्थापित कर रहे हैं।
- टिटाघर रेल सिस्टम्स- भरतपुर में 325 करोड़ रुपए के निवेश से रेल कोच निर्माण से जुड़े इंफ्रास्ट्रक्चर का डेवलपमेंट।
ग्लास, प्लास्टिक और मार्बल सेक्टर
- सेलो कंज्यूमर- पाली में हाउसहोल्ड ग्लासवेयर व प्लास्टिक उत्पाद इकाई, 250 करोड़ रुपए का निवेश।
- मालानी मार्बल- अजमेर में इंपोर्टेड मार्बल प्रोसेसिंग यूनिट को मजबूत करेंगे, 80 करोड़ रुपए शुरुआती निवेश।
- एयर ग्लोब प्राइवेट लिमिटेड- झुंझुनूं में 60 करोड़ रुपए की लागत से सिविल एविएशन ट्रेनिंग प्रोजेक्ट शुरू कर रहे।






