कर्मचारी भविष्य निधि संगठन-ईपीएफओ द्वारा हर साल जीवन प्रमाण पत्र (Jeevan Pramaan) जमा कराया जाता है। Life Certificate देना अनिवार्य है। इसका यह मतलब होता है कि पेंशनर्स सबूत पेश करता है कि वह जीवित है और पेंशन पाने का हकदार है। यदि नवंबर तक जीवन प्रमाण पत्र (Jeevan Pramaan) जमा नहीं किया गया तो दिसंबर और उसके बाद की पेंशन का भुगतान पेंशनभोगी को नहीं किया जाएगा।
केंद्रीय सरकारी पेंशनभोगियों को नवंबर में वार्षिक जीवन प्रमाण पत्र जमा करना अनिवार्य है। सरकार ने 58 वर्ष और उससे अधिक आयु वर्ग के वरिष्ठ नागरिकों को हर साल 1 नवंबर के बजाय 1 अक्टूबर से वार्षिक जीवन प्रमाण पत्र दाखिल करने का मौका दिया है। इसका उद्देश्य यह है कि पेंशनभोगी को परेशानी से बचाया जा सके और समय पर वह जीवन प्रमाण पत्र जमा कर सकें।
जानिए डिजिटल जीवन प्रमाण पत्र के बारे में
पेंशनभोगियों के लिए जीवन प्रमाण देना अनिवार्य है। इसी के आधार पर पेंशन जारी रहती है। बायोमेट्रिक-आधार-आधारित डिजिटल जीवन प्रमाण पत्र (Digital Life Certificate) होता है। जीवन प्रमाण यानी डीएलसी व्यक्तिगत पेंशनभोगियों के लिए उनके आधार नंबर और बायोमेट्रिक्स का उपयोग करके तैयार किया जाता है।
एक डिजिटल जीवन प्रमाण पत्र वैध है और आईटी अधिनियम के तहत मान्यता प्राप्त है। इस प्रणाली से पेंशनभोगी (Pensioners) को पेंशन वितरण प्राधिकरण के समक्ष जाकर यह साबित करने में मदद मिलती है कि वह जीवित है।
जीवन प्रमाण पत्र अगले वर्ष की 30 नवंबर तक वैध
58 वर्ष या उससे अधिक आयु के पेंशनभोगियों के लिए, जीवन प्रमाण पत्र 1 अक्टूबर 2024 से जमा कराया जा रहा है। दोनों ही मामलों में, जीवन प्रमाण पत्र अगले वर्ष की 30 नवंबर तक वैध रहेगा। आमतौर पर, जमा करने की अंतिम तिथि 30 नवंबर होती है, जब तक कि सरकार द्वारा इसे आगे न बढ़ाया जाए।