मैं मेरे बचपन से ही मेरी मां को पेड़-पौधे लगाते एवं उनका संरक्षण करते देखती आई हूं, कि किस तरह से वो पेड़-पौधों को लगाती है,उन्हें बड़ा करती है ,उन्हें संभालती है,उनसे प्रेम करती है ये सब करते हुए मां को देखते बड़ी हुई। पर मैंने कभी पेड़-पौधे लगाने का सोचा नहीं था । मां के आशिर्वाद से मास्टर ऑफ़ सोशल की पढ़ाई करते समय , मैं अपने के साथ ऑब्जरवेशन ग्रुप विजिट के दौरान जनक दीदी के यहां गई और मैने देखा कि वो प्रकृति, पेड़-पौधों एवं पर्यावरण के संरक्षण के प्रति कितनी जवाबदेही के साथ अपना सतत जीवन जी रही हैं ! लेकिन मेरे जीवन में , पर्यावरण और पौधों के प्रति प्रेम उसे समय और बढ़ गया ,जब 31 मई से 5 जून , 2024 के बीच में जनक दीदी के जिम्मी मगिलिगन सेंटर में पर्यावरण सप्ताह का हिस्सा बनी।
उनके वहा और उनके जीवन को देख बहुत प्रेरित हुई जब मुझे मालूम चला की दीदी उनके जन्मदिन, रक्षाबंधन पर उतने पौधे लगाती हैं जितने वर्ष उनके पूर्ण हो गए ,फिर उनका संरक्षण कर बड़ा करती हैं।
तभी से मेरे मन में भी यह भाव प्रकट हुआ कि अब मुझे भी मेरा और मेरे मित्रों का जन्मदिन पौधों को लगाकर ही मनाना है। यह बड़े सौभाग्य की बात है कि मेरा जन्म दिवस 4 जुलाई और मेरी सहेली का जन्म दिन जून में आता है , तो हम दोनों के 30 वर्ष पूर्ण होने के उपलक्ष में मैंने 60 पौधों को लगाने का निर्णय किया और यह जिज्ञासा दीदी के साथ सांझा की मुझे उनका पूर्ण मार्गदर्शन मिला।
सनावादिया उनके घर गिरिदर्शन के ठीक पीछे दीदी द्वारा साइंटेक इको फाउंडेशन के सहयोग से हरी की जा रही दूतनी पहाड़ी पर उन्होंने उनके द्वारा दीदी को भेंट स्वरूप भेजे गये और मेरी सहेली और मेरे जन्म दिन के उपहार मिलाकर करंज और खाखरे के पेड़ो के पौधे 130 पौधे लगा कर पहली बार प्रकृति को समर्पित जन्म दिन मनाया । जिसकी शुरआत प्रार्थना के साथ जनक दीदी के गार्डन में पांच रोजमेरी के पौधे लगाकर जाकर देखा दीदी ने
पहाड़ी पर 125 गड्ढे खुदवाकर तैयार रखे थे ।
जनक दीदी के स्न्ह्पूर्व्क प्रेरणा और मार्गदर्शन ,साइंटेक फाउंडेशन के अम्बरीश केला जी के भेजे पौधे और पानी के 2 टैंकर लाये अशोक जी, बुधराम जी, जितेंद्र जी ,और मेरे सभी मित्र निलेश चौहान, प्रद्युम्न गुर्जर,शिव शर्मा, सूर्या, प्राची, तृप्ति,और जनक दीदी की इंटरन तुहीना झा, राजेंद्र भैया के सहयोग से समस्त पौधों का रोपण किया और सभी अविभूप्त हुए और संकल्प लिया हमेशा जन्म दिन इसी तरह मनाएँगे । मैंने सभी का धन्यवाद किया और संदेश दिया कि आप सभी अपना जन्मदिन इस तरह हरा भरा और सतत बनाएं और खूब पेड़ लगाए साथ ही साथ उसकी देखभाल करे पर्यावरण को बचाएं धन्यवाद।