प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स को एक पत्र लिखा है। यह पत्र सुनीता की वापसी से पहले भेजा गया है। पीएम ने सुनीता को भारत की ‘बेटी’ कहा और उनके साहस की सराहना की। उन्होंने लिखा कि सुनीता भले ही हजारों मील दूर हों, लेकिन उनके दिल हमेशा भारत के करीब हैं। प्रधानमंत्री ने सुनीता के कार्यों को प्रेरणादायक बताया और उनकी सफलता पर गर्व व्यक्त किया।
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प्रधानमंत्री मोदी का संदेश–
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने पत्र में सुनीता विलियम्स के space probes में असाधारण योगदान को सराहा और उनके स्वास्थ्य और सफलता के लिए प्रार्थना की। उन्होंने भारत से विलियम्स को वापस आने का निमंत्रण भी दिया और देश के साथ उनके गहरे संबंधों की पुष्टि की। प्रधानमंत्री ने लिखा, “आप हमारे दिलों के करीब हैं।”
विलियम्स का आभार और NASA की तैयारी–
सुनीता विलियम्स ने पीएम मोदी के विचारशील इशारे के लिए आभार व्यक्त किया। साथ ही उन्होंने अंतरिक्ष में अपने समय के दौरान भारत से मिले समर्थन को सराहा। 19 मार्च को, क्रू ड्रैगन अंतरिक्ष यान अटलांटिक महासागर में सुरक्षित लैंडिंग की तैयारी करेगा। NASA के मौसम विज्ञानियों ने लैंडिंग के लिए आदर्श परिस्थितियों की योजना बनाई है।
वापसी का महत्व और चुनौतियाँ–
सुनीता विलियम्स और उनके साथी अंतरिक्ष यात्री बुच विल्मोर 18 मार्च 2025 को आईएसएस से अलग हो जाएंगे और स्पेसएक्स के क्रू ड्रैगन अंतरिक्ष यान से पृथ्वी की ओर 17 घंटे की यात्रा शुरू करेंगे। यह वापसी मिशन एक अहम मील का पत्थर है, क्योंकि उनका मिशन शुरू में केवल आठ दिनों तक चलने वाला था। हालांकि, तकनीकी समस्याओं के कारण उन्हें लंबी अवधि के लिए अंतरिक्ष में रहना पड़ा।
