संसद की सुरक्षा में चूक और फिर सांसदों का निलंबन, इन दो मुद्दों को लेकर बुधवार (20 दिसंबर) को शीतकालीन सत्र का 13वां दिन भी हंगामेदार रहा. इस बीच समाजवादी पार्टी की सांसद जया बच्चन का कहना है कि राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ उनकी बात नहीं सुन रहे हैं. उनका कहना है कि सुबह से चिल्ला रहे हैं और अपनी बात कहने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन उनकी बात नहीं सुनी जा रही.
जया बच्चन ने इस बात पर भी सवाल उठाए हैं कि किस मापदंड के तहत सांसदों को निलंबित किया गया है. उन्होंने कहा कि अगले ही दिन कई सांसद वेल में गए, लेकिन उन्हें निलंबित नहीं किया गया इसलिए सभापति बताएं कि किस मापदंड पर सांसदों को निलंबित किया जा रहा है.
सभापति धनखड़ को लेकर क्या बोलीं जया बच्चन
जया बच्चन ने मजाकिया अंदाज में कहा, ‘हम बोल रहे हैं, चिल्ला रहे हैं कि सर हमको बोलने दीजिए. मैंने उनको यही कहा कि सर-सर बोल रहे हैं आप जवाब नहीं दे रहे. अब मैं आपको मैडम कहूंगी. अरे क्या करें.’ उन्होंने आगे कहा, ‘कल इतने सांसदों को आपने डिसमिस कर दिया. किसी ने प्लेकार्ड पकड़ लिया था और कोई वेल में चला गया. आज भी काफी लोग वेल में गए आपने उन्हें क्यों डिसमिस नहीं किया. मैं वही पूछ रही थी चेयरमैन से कि मापदंड क्या है. क्या सोचकर आप नाप रहे हैं कि इनको डिसमिस करना है और इनको नहीं करना है.’
सांसदों के निलंबन पर उठाए सवाल
जया बच्चन ने कहा, ‘आप सोचिए राम गोपाल जैसे सीनियर सांसद वो बेचारे अपनी सीट से उठकर साइड में हो गए. अपने इतने लंबे करियर में ना उन्होंने कभी आवाज जोर से की, ना बुरी तरह से बात की और ना ही अगर बोलते हुए चेयरमैन ने कह दिया कि आपका वक्त खत्म हो गया तो बात पूरी किए बगैर वो बैठ जाते हैं. इतने भद्र, इतने सीनियर सांसद को आपने सस्पेंड कर दिया. सोचिए. ये कौन सा मापदंड है.’
सदन में क्या बोले सभापति जगदीप धनखड़
सदन में सांसदों के हंगामे के दौरान सभापति जगदीप धनखड़ ने कहा, ‘मैं तो मेरी पीड़ा व्यक्त भी नहीं कर सकता. आज का दिन मेरे लिए बहुत ही चिंता का विषय है. हाउस में भी और हाउस के बाहर भी.’ इसके बाद सभापति जगदीप धनखड़ सदन की कार्यवाही स्थगित करके आसन से उठ गए.