केंद्र ने भारतीय वायु सेना के लिए दी 56 C-295 MW परिवहन विमान की खरीद और निर्माण को मंजूरी
इस अनुबंध के बारे में केंद्र सरकार ने बताया कि यह अपनी तरह की पहली परियोजना है जिसमें एक निजी कंपनी द्वारा भारत में एक सैन्य विमान का निर्माण किया जाएगा।

नई दिल्ली। आज एक महत्वपूर्ण फ़ैसले में केंद्र सरकार की सुरक्षा संबंधी कैबिनेट समिति (CCS) ने भारतीय वायु सेना के लिए 56 C-295 MW परिवहन विमान की खरीद को मंजूरी प्रदान कर दी है। यह एक अनूठा अनुबंध होगा जिसमें अनुबंध पर हस्ताक्षर करने के 48 महीनों के भीतर स्पेन से 16 विमान फ्लाईअवे स्थिति में वितरित किए जाएंगे और 40 विमान भारत में टाटा कंसोर्टियम द्वारा 10 वर्षों के भीतर निर्मित किए जाएंगे।
इस अनुबंध के बारे में केंद्र सरकार ने बताया कि यह अपनी तरह की पहली परियोजना है जिसमें एक निजी कंपनी द्वारा भारत में एक सैन्य विमान का निर्माण किया जाएगा। सभी 56 विमान स्वदेशी इलेक्ट्रॉनिक वारफेयर सूट के साथ स्थापित किए जाएंगे।
केंद्र सरकार ने इस अनुबंध और परियोजना के बारे में बताते हुए कहा कि यह कार्यक्रम भारत के एयरोस्पेस पारिस्थितिकी तंत्र में रोजगार सृजन में उत्प्रेरक के रूप में कार्य करेगा और इससे प्रत्यक्ष रूप से 600 अत्यधिक कुशल रोजगार, 3000 से अधिक अप्रत्यक्ष रोजगार और अतिरिक्त 3000 मध्यम कौशल रोजगार के अवसर पैदा होने की उम्मीद है।
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ज्ञात हो कि भारतीय रक्षा मंत्रालय बहुत लंबे समय से अपने देश के सुरक्षा तंत्र को स्वदेशीकरण करने पर कार्य कर रहा है। इस बारे में विगत 27 अगस्त को भारत के चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (सीडीएस) जनरल बिपिन रावत ने देश के रक्षा उपकरणों और हथियारों में स्वदेशीकरण करने की बात करते हुए कहा था कि क्षेत्रीय शक्ति बनने की आकांक्षा उधार की ताकत पर निर्भर नहीं हो सकती है।
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विगत कुछ समय से देश के रक्षा विभाग के स्वदेशीकरण के प्रक्रिया के तहत रक्षा मंत्रालय विदेशों से जो भी हथियार और रक्षा उपकरणों की खरीद कर रहा है, उन अनुबंधों में रक्षा उपकरणों के निर्माण की भी डील को भी शामिल रखता है। हालांकि इस प्रक्रिया में तकनीकों के खरीद के कारण अनुबंध थोड़े महंगे जरूर पड़ते हैं, मगर अंततः यह यह देश को स्वनिर्भर करने की दिशा में ले जाता है। साथ ही यह देश में रोजगार सृजन में भी भूमिका निभाता है।
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