आम चुनाव की तारीखों के ऐलान का वक्त नजदीक आ गया है. चुनाव आयोग 13 मार्च के बाद लोकसभा चुनाव की तारीखों की घोषणा कर सकता है. इससे पहले चुनाव आयोग मार्च के पहले हफ्ते में जम्मू-कश्मीर का दौरा कर सकता है. चुनाव आयोग ने पश्चिम बंगाल के संवेदनशील बूथों की लिस्ट मांगी है. इस बार भी आम चुनाव 7-8 चरण में हो सकते हैं.
2019 में आम चुनाव सात चरणों में मतदान हुआ था. 2019 में लोकसभा चुनाव की घोषणा 10 मार्च को हुई थी. ECI ने 11 अप्रैल 2019 से 19 मई 2019 के बीच सात चरणों में आम चुनाव कराए थे. 23 मई को चुनाव के नतीजे आए थे. बीजेपी ने आम चुनाव में 303 सीटें जीतीं थीं और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र में लगातार दूसरी बार सरकार बनाई थी. बीजेपी के नेतृत्व वाले गठबंधन ने 353 सीटें जीती थीं.
‘राज्यों के दौरे के बाद होगा तारीखों का ऐलान’
चुनाव आयोग के आधिकारिक सूत्रों ने शुक्रवार को बताया कि ECI आम चुनाव की तैयारियों की समीक्षा करने के लिए कई राज्यों का दौरा कर रहा है. एक बार यह दौरे पूरे होने के बाद तारीखों की घोषणा की जाएगी. फिलहाल, चुनाव आयोग के अधिकारी अभी तमिलनाडु का दौरा कर रहे हैं, उसके बाद वे उत्तर प्रदेश और जम्मू-कश्मीर का दौरा करेंगे. यह सभी दौरे 13 मार्च से पहले पूरे होने की उम्मीद है.
चुनौतियों से निपटने के लिए चुनाव आयोग तैयार’
आयोग पिछले कुछ महीनों से तैयारियों की समीक्षा करने के लिए सभी राज्यों के मुख्य निर्वाचन अधिकारियों (सीईओ) के साथ लगातर बैठकें कर रहा है. अधिकारियों ने बताया कि सीईओ ने समस्या वाले क्षेत्रों, ईवीएम की आवाजाही, सुरक्षा बलों की जरूरत, बॉर्डर पर कड़ी निगरानी को सूचीबद्ध किया है. विशेष रूप से चुनाव आयोग इस साल आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का उपयोग करने की योजना बना रहा है.
लोकसभा चुनाव के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस
चुनाव आयोग ने मई से पहले होने वाले लोकसभा चुनावों के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस टेक्नोलॉजी की मदद लेने का फैसला किया है. सोशल मीडिया और डिजिटल प्लेटफॉर्म पर गलत सूचनाओं को चिह्नित करने और हटाने के लिए ECI के भीतर आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के लिए एक विभाग बनाया गया है.
गलत सूचना पर अकाउंट सस्पेंड या ब्लॉक होगा
चुनाव के दौरान सोशल मीडिया पर झूठी और भड़काऊ सामग्री को हटाने का काम तेजी से किया जाएगा. यदि कोई पार्टी या उम्मीदवार नियमों का उल्लंघन करना जारी रखता है तो आयोग तत्काल कड़ी कार्रवाई करेगा. सोशल मीडिया प्लेटफार्मों के अकाउंट को सस्पेंड किया जा सकता है या उन्हें ब्लॉक करने की सिफारिश कर सकता है.
‘96.88 करोड़ लोग वोटिंग में हिस्सा लेंगे’
चुनाव आयोग फैक्ट चेक, गलत सूचना से निपटने और संवेदनशील क्षेत्रों में कड़ी सुरक्षा सुनिश्चित करने पर भी ध्यान केंद्रित करेगा. चुनाव आयोग के आंकड़ों में कहा गया है कि आगामी लोकसभा चुनावों में 96.88 करोड़ लोग मतदान में हिस्सा लेंगे. इसके अलावा 18-19 आयु वर्ग के 1.85 करोड़ लोग वोट डालने के लिए रजिस्टर्ड किए गए हैं.
