गैंगस्टर संदीप गाडोली की प्रेमिका दिव्या पाहूजा का शव रविवार को पांचवें दिन भी नहीं मिला। गुरुग्राम पुलिस शव की तलाश में पंजाब में डेरा डाले हुए है। शव को ठिकाने लगाने वाले दोनों व्यक्तियों का भी अभी तक सुराग नहीं लग सका है। वहीं इस मर्डर केस की जांच में एसआईटी ने एक और युवती को शामिल किया है। 20 साल की यह युवती होटल मालिक की दूसरी गर्लफ्रेंड है। सूत्रों के मुताबिक इस युवती ने होटल में दिव्या की खून से लथपथ डेडबॉडी देखी थी। होटल मालिक ने शव को ठिकाने लगाने में इस युवती से मदद मांगी थी, जिसने इनकार कर दिया था। अब इस युवती को एसआईटी सरकारी गवाह बनाने की तैयारी में जुटी है। पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक पंजाब में गोताखोरों की मदद से दिव्या पाहूजा के शव को नहर में तलाश किया जा रहा है लेकिन अभी तक सफलता हाथ नहीं लगी है।
दिल्ली के नजफगढ़ में रहती है युवती
वहीं होटल मालिक ने जिस तमंचे से दिव्या को गोली मारी गई थी, उसे भी अभी तक पुलिस बरामद नहीं कर सकी है। सीसीटीवी फुटेज की जांच के दौरान पुलिस ने एक और युवती को इस होटल में मर्डर की रात को होना पाया था। एसआईटी इस युवती के दिल्ली स्थित निवास पर रविवार को पहुंच गई। सूत्रों के मुताबिक इस युवती ने पुलिस को बताया है कि उसने दिव्या का शव होटल के कमरे में देखा था। होटल मालिक अभिजीत ने उससे इस शव को ठिकाने लगाने में मदद करने को बोला था लेकिन वह बेहद डर गई थी और वहां से चली गई। यह युवती दिल्ली के नजफगढ़ एरिया में रहती है। युवती का नाम मेघा है।
दिव्या की बहन ने बताया साचिश
दिव्या की बहन नैना ने दर्ज कराई गई एफआईआर में गैंगस्टर संदीप गाडोली के परिवार के हत्या कराने का शक जताया है, लेकिन गैंगस्टर संदीप की बहन ज्योत्सना ने इस हत्याकांड की साजिश मुंबई जेल से रचे जाने का शक जताया है। गाडोली की बहन ने आरोप लगाया कि जेल में बंद बिंदर व पुलिस की साजिश से ये हुआ है। दिव्या का शव पुलिस बरामद नहीं कर सकी है। वहीं, जांच के लिए पुलिस की ओर से शुक्रवार को SIT (स्पेशल इंवेस्टिगेशन टीम) का गठन किया गया था। डीसीपी क्राइम विजय प्रताप सिंह के सुपरविजन में ये टीम जांच कर रही। एसआईटी में एसीपी क्राइम वरुण दहिया के साथ सेक्टर-14 थाना एसएचओ व सेक्टर-17 क्राइम ब्रांच की टीम शामिल हैं।
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पुलिस पर लगाए आरोप
गैंगस्टर संदीप की बहन ज्योत्सना ने कहा कि हमने तो कानूनी तौर पर अपनी लड़ाई अब तक लड़ी है। हमारी कानूनी लड़ाई के चलते ही गैंगस्टर बिंदर, पुलिसकर्मी, दिव्या और उसकी मां जेल में बंद रहे। कुछ लोग जमानत पर आ चुके हैं लेकिन कुछ अभी भी जेल में हैं। पुलिस ने पहले भी मेरे भाई संदीप के विरोधी गैंगस्टर बिंदर गुर्जर के कहने पर ही संदीप का फर्जी एनकाउंटर किया था। बिंदर के एक अन्य साथी की हत्या का भी झूठा आरोप संदीप पर लगाया गया था। लेकिन बाद में स्पष्ट हुआ कि बिंदर ने ही उसकी हत्या कराई थी। इस मामले में भी पुलिस ने जिस तरह लापरवाही दिखाई है उससे साजिश की बू आ रही है। पुलिस के 9 बजे होटल पहुंचने के बाद पौने 11 वहां से शव निकाला गया। जिसे अब तक पुलिस ढूंढ नहीं सकी है।