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October 29, 2025 8:37 am

विकसित राजस्थान 2047: 1 करोड़ रोजगार, 100% धुआं-मुक्त भविष्य का वादा

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राजस्थान आने वाले 22 साल में हर गांव तक पानी पहुंचाने, रेगिस्तान और बंजर जमीन का टैग हटाकर देश में फूड बास्केट बनकर उभरेगा। वहीं, स्वास्थ्य और पर्यटन रैंकिंग में सिरमौर बनकर एक करोड़ से अधिक रोजगार देने वाला राज्य बन जाएगा।

बालिकाओं के प्रति सोच बदलने से हर 1000 पुरुष आबादी की तुलना में महिलाएं 920 से बढ़कर 950 हो जाएगी। करीब 60 प्रतिशत महिलाएं कामकाजी होंगी। निवेश को बढ़ाकर निर्यात पांच गुना तक ले जाएंगे। हर स्कूल में स्मार्ट क्लासरूम और हर पंचायत में डिजिटल पार्क, जेंडर व चाइल्ड बजट बनेगा।

इलाज के लिए हर संभाग में रिम्स और कैंसर केयर एक्सीलेंस सेंटर और रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए हर ब्लॉक में आयुर्वेद अस्पताल खुलेगा। पर्यावरण संरक्षण के लिए सड़कों के किनारे 10 करोड़ पौधे लगेंगे, तो ईंधन सौ फीसदी धुंआ मुक्त होगा।

यह सब भले सपने जैसा लगे, लेकिन सरकार का दावा है कि प्रदेश को हर क्षेत्र में अग्रणी बनाया जाएगा। कार्यों की रफ्तार धीमी नहीं पड़े, इसलिए मुख्य सचिव को नियमित मॉनिटरिेंग का जिम्मा सौंपा जाएगा। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने हाल ही विकसित राजस्थान-2047 का यह विजन डॉक्यूमेंट जारी किया।

पंचायतों में 2047 में यह होगा

हर ग्राम पंचायत में पब्लिक लाइब्रेरी, डिजिटल पार्क तथा जेंडर और बाल बजट स्वीकृत होगा। वहीं, पर्यावरण संरक्षण में अभी 44.01 प्रतिशत ईंधन धुंआ रहित है, जिसे 2047 में 100 प्रतिशत तक पहुंचाया जाएगा।

विकसित भारत के सपने की दिशा में बड़ा कदम

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विकसित भारत 2047 के संकल्प को साकार करने की दिशा में राजस्थान सरकार ने भी महत्वाकांक्षी पहल की है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में राज्य सरकार ने ‘विकसित राजस्थान @2047 विजन डॉक्यूमेंट’ तैयार किया है, जो राज्य को विकसित देशों की श्रेणी में लाने का रोडमैप बनेगा। अगस्त में हुई मंत्रिमंडल बैठक में इस दस्तावेज को अनुमोदन मिल चुका है।

4.3 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था का लक्ष्य

विजन डॉक्यूमेंट के अनुसार, साल 2047 तक राजस्थान की अर्थव्यवस्था को 4.3 ट्रिलियन डॉलर तक ले जाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इसके लिए कृषि, उद्योग, पर्यटन और नवीकरणीय ऊर्जा को विकास के चार प्रमुख स्तंभ बनाया गया है।

समावेशी और सतत विकास पर जोर

राज्य सरकार का उद्देश्य युवा, महिला, किसान और गरीब वर्ग को केंद्र में रखकर समावेशी विकास को बढ़ावा देना है। इसके तहत 100% साक्षरता, सुलभ स्वास्थ्य सेवाएं, प्रभावी जल प्रबंधन, स्मार्ट शहरीकरण और पर्यावरण संरक्षण पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।

राजस्थान ने अपने दीर्घकालिक लक्ष्यों को पाने के लिए 2030, 2035 और 2040 के लिए मध्यावधि लक्ष्य तय किए हैं। प्रत्येक चरण में नए विकास मानक और प्रदर्शन सूचकांक निर्धारित होंगे।

विकसित देशों की तर्ज पर विकास

राजस्थान ने अपने लक्ष्य जर्मनी जैसे विकसित देशों के मानकों के अनुरूप तय किए हैं। विनिर्माण क्षेत्र की हिस्सेदारी को 20 प्रतिशत तक बढ़ाने और जीवन प्रत्याशा को 77 वर्ष तक ले जाने की परिकल्पना की गई है।

DIYA Reporter
Author: DIYA Reporter

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