auruhana2.kz
autokolesa.kz
costacoffee.kz
icme2017.org
kenfloodlaw.com
Vavada
Chicken Road
카지노 사이트 추천
betify

Explore

Search

August 24, 2025 10:57 pm

धूमधाम से मनाया रिज़वान पर्व का नवा दिन, सांस्कृतिक कार्यक्रमों ने बाधां समा

WhatsApp
Facebook
Twitter
Email

1863 में बगदाद में रिज़वान के बगीचे में बहाउल्लाह के अपने परिवार से मिलने के कारण मनाया जाता है यह दिन

जयपुर। स्थानीय आध्यात्मिक सभा जयपुर की ओर से बापू नगर स्थित बहाई हाऊस में रिज़वान पर्व का नवां दिन 28 अप्रैल की पूर्व संध्या पर बड़े धूमधाम से मनाया गया। मुख्य वक्ता रामेश्वर प्रसाद ने बताया कि रिज़वान को ‘उत्सवों का सम्राट’ या ‘पर्वराज’ कहा गया है। अरबी भाषा में “रिज़वान” शब्द का अर्थ है “स्वर्ग”। “रिज़वान” का नवां दिन वर्ष 1863 में बगदाद शहर मे बहाउल्लाह के “रिज़वान” बगीचे मे उनके परिवार से मिलने के कारण मनाया जाता है यह वही बगीचा है जहां बहाउल्लाह 12 दिन तक ठहरे थे और इसी दौरान वो हजारों की तादाद मे अनुयायियों से मिलते थे।

रामेश्वर ने बताया कि बगदाद प्रवास के दौरान वहां के अनेक निवासियों को उनका प्रशंसक बना लिया और सीमा पार से बड़ी संख्या में ईरानी भी उनकी ओर आकृष्ट होने लगे। बढ़ती संख्या ने ईरान सरकार को चिंतित और सतर्क कर दिया। उन्होंने अपने पड़ोसी देश पर दबाव बनाया कि बहाउल्लाह को और अधिक दूर- दराज के ऐसे स्थान पर भेज दिया जाए, जहां तक लोगों का पहुंचना कठिन हो। बहाउल्लाह और उनके परिवार को कॉस्टैंटीनोपल भेज दिए जाने का आदेश हुआ। उस आदेश ने लोगों को विचलित कर दिया। बिछुड़ने के दुःख में लोगों की भीड़ उस छोटे से घर में उमड़ पड़ी जहां बहाउल्लाह और उनका परिवार रह रहा था।

नजीब पाशा ने, जो बहाउल्लाह से प्रभावित थे, बगीचे में टेंट लगाने का आदेश दिया ताकि बहाउल्लाह से मिलने आ रहे लोग आसानी से उनसे मिल सकें और उन्हें विदा कर सकें। इस तरह बहाउल्लाह 21 अप्रैल 1863 को नजीबिया उपवन में आ गए और यहीं उन्होंने अपने ईश्वरीय अवतार होने की घोषणा की और रिज़वान का यह पहला दिवस एक त्यौहार के रूप मे मनाया जाने लगा।

इस अवसर पर युवाओं ने सास्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत कर समां बांधा। लिटिल अरिजित सिंह के नाम से मशहूर नन्हे गायक हेत्विक सिंह ने अपनी प्रस्तुती ” शानु तेनु चैन न आवे,ताना बाना बुनती हवा” से सभी का दिल जीता तो वही हिमानी ने राजस्थानी लोक नृत्य व गुंजन व सानिया ने युगल नृत्य प्रस्तुत कर सबकी वाहवाही लूटी वही अनुज अनंत ने एक गेम खिलाकर सबका मनोरंजन किया।

गौरतलब है कि “रिज़वान” के बगीचे में बहाउल्लाह द्वारा तीन बाते ” अब धर्म के लिए कभी युद्ध नहीं होगा , आज से प्रत्येक वस्तु में एक नई जान फूक दी गई है व एक हजार साल के लिए यह धर्म है” घोषित की गई थी। कार्यक्रम का संचालन हनुमान वर्मा व हर्ष मीणा द्वारा किया गया।

ताजा खबरों के लिए एक क्लिक पर ज्वाइन करे व्हाट्सएप ग्रुप

Leave a Comment

Advertisement
लाइव क्रिकेट स्कोर
ligue-bretagne-triathlon.com
pin-ups.ca
pinups.cl
tributementorship.com
urbanofficearchitecture.com
daman game login