Supreme Court: मुस्लिम पक्ष ने ज्ञानवापी के अंदर वुजू की अनुमति मांगी, CJI ने कहा- कलेक्टर मीटिंग बुलाकर करें फैसला

मुस्लिम पक्ष के वकील हुजैफा अहमदी ने कहा, रमजान चालू है। अधिकारी मोबाइल शौचालय की व्यवस्था कर सकते हैं। 
 
Supreme Court: मुस्लिम पक्ष ने ज्ञानवापी के अंदर वुजू की अनुमति मांगी, CJI ने कहा- कलेक्टर मीटिंग बुलाकर करें फैसला

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने ज्ञानवापी मस्जिद में वुजू की परमिशन मांग रहे मुस्लिम पक्ष की याचिका पर सुनवाई की। CJI डीवाई चंद्रचूड़ की बेंच ने कहा कि वाराणसी कलेक्टर 18 अप्रैल को संबंधित अधिकारियों की मीटिंग बुलाएं और उसमें फैसला करें। ताकि ज्ञानवापी मस्जिद के परिसर में वुजू के लिए सुविधा दी जा सके। याचिका अंजुमन इंतेजामिया मस्जिद कमेटी ने दायर की थी। जिसमें कहा गया था कि मस्जिद के अंदर बने वुजूखाने को खोल दिया जाए। जिसे शिवलिंग बताकर सीलबंद कर दिया गया है। दरअसल, रमजान के दौरान मस्जिद कमेटी ने वुजू के लिए वैकल्पिक व्यवस्था की मांग करते हुए याचिका दायर की, जिस पर सुनवाई करते हुए CJI डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस पीएस नरसिम्हा और जस्टिस जेबी पारदीवाला की बेंच ने 21 अप्रैल की तारीख तय की है।

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मुस्लिम पक्ष के वकील हुजैफा अहमदी ने कहा, रमजान चालू है। अधिकारी मोबाइल शौचालय की व्यवस्था कर सकते हैं। तो वहीं, सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा, वे जिस जगह वुजू की बात कर रहे हैं, वह विवादित क्षेत्र है, जहां शिवलिंग है इसलिए यह मांग समस्या पैदा कर सकती है। हालांकि इस पर कलेक्टर और मस्जिद कमेटी फैसला ले सकती है। 

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उन्होंने आगे कहा, चिंता की बात यह है कि मोबाइल टॉयलेट परिसर की पवित्रता को प्रभावित न करे। इसके लिए अधिकारियों को उचित कदम उठाने होंगे। साथ ही, CJI डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा याचिकाकर्ता वुजू और वॉशरूम के लिए पर्याप्त जगह चाहते हैं। इसके लिए वाराणसी कलेक्टर 18 अप्रैल को एक मीटिंग बुलाएं ताकि एक सौहार्दपूर्ण हल निकाला जा सके। मामले को 21 अप्रैल को लिस्ट किया जाए। अगर मीटिंग में आपसी सहमति से मोबाइल टॉयलेट और वुजू के लिए फैसला लिया जाता है, तो कोर्ट के अगले आदेशों का इंतजार किए बिना इसे लागू किया जा सकता है। 

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दरअसल, पांच हिंदू महिलाओं ने ज्ञानवापी मस्जिद परिसर में मौजूद हिंदू देवी देवताओं की पूजा की अनुमति मांगी थी। इन महिलाओं ने खास तौर पर श्रृंगार गौरी की हर दिन पूजा करने की इजाजत चाही थी। कोर्ट के आदेश पर मस्जिद में सर्वे भी किया गया था। सर्वे के बाद हिंदू पक्ष ने दावा किया था कि मस्जिद के तहखाने में शिवलिंग मौजूद है, जबकि मुस्लिम पक्ष ने इसे फव्वारा बताया था। आपको बता दें, वाराणसी कोर्ट ने ज्ञानवापी और श्रृंगार गाैरी के सात मामलों की सुनवाई अब एक साथ करने का फैसला किया है। लंबे समय से चल रही सुनवाई और टलते आदेश के बाद सोमवार को आज वाराणसी कोर्ट ने कहा कि पूजा और राग-भोग से संबंधित 7 मामलों को एक साथ क्लब करके सुनवाई की जाएगी।

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