Money Laundering case: अनिल देशमुख की जमानत याचिका खारिज, भ्रष्टाचार और पद के दुरुपयोग का है आरोप

मुंबई। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के नेता और महाराष्ट्र के पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख की जमानत याचिका CBI कोर्ट ने खारिज कर दी है। वहीं, शिवसेना सांसद संजय राउत की भी जमानत याचिका पर सुनवाई टल गई है। इस पर सुनवाई अब दो नवंबर को होगी। पिछले दिनों NCP नेता नवाब मलिक की जमानत भी खारिज हुई थी। तीनों नेता मुंबई के आर्थर रोड जेल में हैं। महाराष्ट्र के पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख पर भ्रष्टाचार और पद के दुरुपयोग का आरोप है। इस मामले की जांच CBI कर रही है। देशमुख ने ED की तरफ से दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग मामले में बॉम्बे हाईकोर्ट से 4 अक्टूबर को जमानत मिलने के बाद इस मामले में भी जमानत की अर्जी दी थी।
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राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) नेता अनिल देशमुख को दो नवंबर 2021 को गिरफ्तार किया गया था। इस समय वह न्यायिक हिरासत में हैं। देशमुख को पिछले सप्ताह ‘कॉरोनेरी एंजियोग्राफी’ के लिए निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। देशमुख महाराष्ट्र की पूर्ववर्ती महा विकास आघाडी (MVA) सरकार में मंत्री थे। इस सरकार में शिवसेना, NCP और कांग्रेस साझेदार थे। तो वही उद्धव गुट वाली शिवसेना के नेता और राज्यसभा सांसद संजय राउत पर मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप है। पात्रा चॉल से जुड़े इस केस में उन्हें इसी साल जुलाई में गिरफ्तार किया था। पिछले महीने विशेष धन शोधन निवारण अधिनियम (PMLA) अदालत से उन्होंने जमानत मांगी थी। इस याचिका का अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल (ASG) अनिल सिंह ने विरोध किया था। उन्होंने हवाला दिया था कि जांच एजेंसी के पास 2011 से रिकॉर्ड मौजूद हैं, जो बताते हैं कि संजय राउत पात्रा चॉल परियोजना में शामिल थे।
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आपको बता दे, सिद्धार्थ नगर उपनगरीय गोरेगांव में पात्रा चॉल है। यह 47 एकड़ में फैला हुआ है। इसमें 672 किराएदार परिवार रहते हैं। 2008 में महाराष्ट्र हाउसिंग एंड एरिया डेवलपमेंट अथॉरिटी ने HDCL की एक सहयोगी कंपनी को चॉल के लिए एक पुनर्विकास अनुबंध सौंपा था। GACPL को किराएदारों के लिए 672 फ्लैट बनाने और म्हाडा को कुछ फ्लैट देने थे। हालांकि, ED के अनुसार पिछले 14 सालों में किराएदारों को एक भी फ्लैट नहीं मिला है। ED का आरोप है कि कंपनी ने पात्रा चॉल का पुनर्विकास ही नहीं किया, बल्कि बिल्डरों को 1,034 करोड़ रुपए में भूमि पार्सल और फ्लोर स्पेस इंडेक्स बेच दिया था।
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