राजस्थान में मौसम ने करवट लेना शुरू कर दिया है। अक्टूबर के मध्य तक पहुंचते-पहुंचते प्रदेश के कई हिस्सों में रात के तापमान में गिरावट दर्ज की जा रही है। खासकर शेखावाटी क्षेत्र के सीकर जिले में सर्दी ने सबसे पहले दस्तक दी है। गुरुवार की रात सीकर में न्यूनतम तापमान 14 डिग्री सेल्सियस से नीचे दर्ज हुआ, जो इस सीजन की अब तक की सबसे ठंडी रातों में से एक रही।
मौसम विभाग के अनुसार, सीकर में न्यूनतम तापमान 13.6 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया, जबकि अजमेर, पिलानी और दौसा जैसे जिलों में भी तापमान सामान्य से 4 से 5 डिग्री नीचे रहा। पिलानी में तापमान 15.7 डिग्री और दौसा में 15.6 डिग्री दर्ज किया गया। यह दर्शाता है कि उत्तरी हवाओं के असर से राजस्थान में धीरे-धीरे ठंड ने दस्तक देना शुरू कर दिया है।
शेखावाटी क्षेत्र में हल्की सर्द हवाओं के कारण ठिठुरन महसूस की जा रही है। सुबह और देर रात लोग गर्म कपड़े पहनने लगे हैं। सड़कों पर कोहरे जैसी नमी और हवा में ठंडक साफ महसूस की जा रही है। मौसम विशेषज्ञों का कहना है कि आने वाले कुछ दिनों तक तापमान में इसी तरह गिरावट जारी रह सकती है। उत्तरी हवाओं का प्रवाह जारी रहने से रात के तापमान में 1 से 2 डिग्री तक और कमी हो सकती है।
हालांकि रात और सुबह के वक्त ठंड बढ़ रही है, लेकिन दिन के समय अब भी धूप तेज है। इससे लोगों को हल्की गर्मी का अहसास हो रहा है। गुरुवार को प्रदेश में दिन का सबसे ज्यादा तापमान बाड़मेर में 36.9 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया। जैसलमेर में भी दिन का तापमान 36.3 डिग्री रहा। वहीं, जयपुर, जोधपुर, बीकानेर और कोटा जैसे शहरों में तापमान 33 से 35 डिग्री के बीच दर्ज हुआ।
मौसम विभाग के अनुसार, फिलहाल राजस्थान में किसी बड़े मौसमी सिस्टम के सक्रिय होने की संभावना नहीं है। इस वजह से आने वाले दिनों में मौसम शुष्क रहेगा। दिन में धूप तेज रहेगी, जबकि रात का तापमान धीरे-धीरे और नीचे जाएगा।
जयपुर मौसम केंद्र के अधिकारियों के मुताबिक, अगले 3-4 दिनों तक प्रदेश में मौसम में ज्यादा बदलाव की संभावना नहीं है। पहाड़ी इलाकों में बढ़ती बर्फबारी का असर आने वाले हफ्ते में देखने को मिल सकता है, जिससे राजस्थान के उत्तरी और पूर्वी जिलों में सर्दी का असर और तेज होगा।
सर्द हवाओं की शुरुआत किसानों के लिए भी राहत लेकर आई है। रबी फसलों की बुवाई की तैयारी में लगे किसान इन दिनों मौसम के अनुकूल माहौल का फायदा उठा रहे हैं। हल्की ठंड और नमी भरी सुबहें गेहूं, चना और सरसों जैसी फसलों के लिए बेहतर मानी जाती हैं।
ठंड के शुरुआती असर के साथ ही लोगों ने अपनी दिनचर्या में बदलाव शुरू कर दिया है। सुबह की सैर करने वाले लोग अब जैकेट या स्वेटर पहनने लगे हैं। बाजारों में चाय की दुकानों पर भीड़ बढ़ गई है। रात के समय अब खिड़कियां और दरवाजे बंद रखे जा रहे हैं ताकि ठंडी हवाओं का असर कम हो सके।
मौसम विभाग का कहना है कि फिलहाल यह शुरुआती सर्दी है, और नवंबर के पहले हफ्ते से प्रदेश में ठंड का असर और गहराने लगेगा। फिलहाल दिन में धूप से हल्की गर्मी और रात में ठिठुरन का यह दौर कुछ और दिन जारी रहेगा।






